गीतकार संगीतकार गायक :- हरिओम जोशी
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*********गीत*******
वक्त ने हमको जाने कितने
खट्टे मीठे दिन दिखाये ।।
कोई लूट के चला गया
कोई आया मदद का हाथ बढाये ।।
1. कितने जाने अनजाने थे अपने खास कहाते थे
वक़्त की धारा में बह बह कर साथ निभाते थे ।।
जाने कहांँ वो चले गये ,फिर लौट कभी ना आये
वक़्त................
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ःःःःःःःःःःःःःःःःःःःःःंःःःःःःःःःःःःः
2. जिनको समझा अपना वो ही हो बैठे बेगाने
बेगाने जो दिखते थे वो निकले संगी सयाने
कैसी कैसी घड़ियाँ देखी कुदरत के भरमाये
वक़्त ...............
3. वक़्त कभी भी रुका नहीं ,क्या वक़्त की कारस्तानी है ।
कोई कैसे मरे जिये ये कुदरत की मनमानी है
ईमाँ पर जीने वाले क्यों वक्त की ठोकर खाये
वक्त ने ............